AICC:कांग्रेस के 41 सीटों के लिए प्रत्याशियों का ऐलान करते ही भाजपा के जैसे बगवाती सुर तेज हो चले है. जिसके चलते कांग्रेस सीटों के उम्मीदवार घोषित करने में समय लगा रही है.वही कुछ मीडिया रिपोर्ट्स का कहना है कि हरियाणा कांग्रेस के प्रभारी दीपक बाबरिया ने दावा किया है कि पार्टी अपने प्रत्याशियों के नामों में देरी इसलिए भी कर रही है ताकि टिकट वितरण से नाराज लोगों को नामांकन करने के लिए ज्यादा मौका न मिल सके.
वैसे कांग्रेस ने पहली सूची में जिन 32 सीटों पर प्रत्याशी घोषित किए , वहां पर कुल 793 दावेदार थे. जिसमें पार्टी ने 28 सीटों पर मौजूदा विधायकों को ही टिकट दे दी है जिसके बाद पार्टी के कार्यकर्ता और आवेदकों ने नाराजगी जाहिर की है. आवेदको का कहना है कि जब मौजूदा विधायकों को ही चुनाव लड़ाना था तो आवेदन के नाम पर 20-20 हजार रुपये क्यों लिये गए?
इतना ही नहीं बरोदा से कपूर नरवाल तो सरेआम हुड्डा पर धोखा देने का आरोप लगा चुके है वहीं बहादुरगढ़ से राजेश जून ने कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया है। बात अगर साढ़ौरा से की जाए तो बृजपाल छप्पर भी खुलकर विरोध में उतर आए हैं।
इन सीटों पर भारी बगावत का डर
आवेदको का कहना है कि शाहबाद में जजपा से आए रामकरण काला को टिकट दी जबकि यहां तो 3 ही उम्मीदवार थे जिसमें से दो पुराने कांग्रेसी और नीलोखेड़ी में सबसे ज्यादा 861 आवेदक लेकिन टिकट दिया निर्दलीय विधायक धर्मपाल गोंदर को. वहीं सबसे ज्यादा विरोध तो जुलाना में ओलिंपियन पहलवान विनेश फोगाट को टिकट दिए जाने पर हो रहा है. यहां के स्थानीय दावेदारों में नाराजगी है कि यहां से 88 आवेदक थे क्या एक भी बढ़िया उम्मीदवार नहीं मिला. फिलहाल पार्टी ने 22 में से तीन जिलों में एक भी सीट पर उम्मीदवार घोषित नहीं किया है, जहां बगावत का सबसे ज्यादा डर है। जिनमें हिसार, दादरी, कैथल, जिले शामिल हैं।